दयानंद महाविद्यालय प्राणी विज्ञान अजमेर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण अजमेर के संयुक्त तत्वाधान में 4 जून शनिवार को विश्व पर्यावरण दिवस मनाया गया पर्यावरण के लिए विश्वव्यापी जागरूकता और कार्यवाही को बढ़ावा देने का यह दिवस मनाया जाता है इस वर्ष का थीम है ओनली वन अर्थ केवल एक पृथ्वी कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डी एल एस ए के सचिव श्री रामपाल जाट जिन्होंने अपने उद्बोधन में बताया कि पर्यावरण सरंक्षण हमारे आने वाली पीढ़ी के लिए निवेश है उन्होंने 3r का महत्व भी बताया भारतीय संविधान में भी पर्यावरण संरक्षण के बारे में बताया गया है साथ ही संविधान में व्यक्ति की गरिमा को भी महत्व दिया गया है किसी भी प्रदूषित वातावरण के बीच में रहकर व्यक्ति की गरिमा भी प्रदूषित होती है कार्यक्रम के कीनोट स्पीकर प्रोफेसर सुभाष चंद्र पीजी डिपार्टमेंट जूलॉजी एमडीएसयू अजमेर ने अपनी पावर प्वाइंट प्रस्तुति में बताया कि 1972 स्टॉकहोम में कॉन्फ्रेंस हुई जिसमें पर्यावरण सरंक्षण एक मुख्य विषय रहा ताकि पर्यावरण पर फोकस कर सकें उस दौरान भी टीम ओनली वन अर्थ था उन्होंने बताया 5 प्रलयकारी घटना पर्यावरण में प्राकृतिक रूप से हो चुकी है अगर इस तरह प्राकृतिक संसाधनों का दोहन होता रहा तो अगली प्रलय कारी घटना का कारण मनुष्य ही होगा महाविद्यालय प्राचार्य डॉ लक्ष्मीकांत शर्मा ने अतिथियों का स्वागत किया और कहा पर्यावरण का अवसर पर पड़ता है पृथ्वी ने जैव विविधता से हमें नवाजा है और हम प्रण लें कि हम इसका दोहन ना करेंगे पर्यावरण के दौरान एमएससी के 2 विद्यार्थी मनस्वी गुप्ता कविता गुर्जर ने पीपीटी के माध्यम से अपने विचार प्रस्तुत किए मनस्वी गुप्ता ने इतिहास व पर्यावरण आंदोलन के बारे में वह कविता गुर्जर ने पर्यावरण उद्देश्य नियम व पर्यावरण नीतियों के बारे में चर्चा की नेचर क्लब के माध्यम से सभी विद्यार्थियों व अध्यापकों को एक पौधा वितरित किया गया कार्यक्रम के दौरान डॉक्टर संचिता रोज डॉक्टर वीके वर्मा श्री सुनील शर्मा श्री दिगंबर सिंह श्री जमील खान उपस्थित रहे कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर सोनिया जोसेफ ने किया रे धन्यवाद पारित उप प्राचार्य डॉक्टर एमके सिंह ने दिया